दोस्ती निभा पाना बेहद कठिन कार्य है

गाइज़ एक बहुत पुरानी बात बता रहा हूँ.. यूँ समझिए कि जब धरती पर जीवन पनप रहा था उससे साल दो साल बाद की ही बात होगी।

तो हुआ यूँ कि मैंने और मेरे लंगोटिया दोस्त(मेरा खराब भाग्य कि वह मेरा चचेरा भाई लगेगा) ने मिलकर लोहे का व्यापार शुरू किया था। घर, दुआर, ट्यूबेल, आस पड़ोस जहाँ कहीं भी लोहा टीना दिखाई देता हम दोनों मिलकर उसको उठा लेते थे।

हाँलाकि संयोग ऐसा होता था कि जब हम उठाते उस वक्त हमें कोई देखता नहीं था तो अब इसको आप ‘चोरी करना’ कह सकते हैं पर हम दोनों का यह मानना था कि इसमें गलती न देखने वालों की है।

खैर.. तो हम दोनों का काफ़ी फैला हुआ व्यापार था और काफ़ी प्रगति कर रहा था। हम लोहा उठाते उसको तीन चार दिन के लिए छुपा देते फिर जब हो हल्ला दब जाता तो हम उसे लोहे के बदले चिनियाबदाम लकठा खजुली सोमपपड़ी देने वाले को बेच देते।

हमने इस धंधे में खूब मुनाफ़ा कमाया और हम दोनों इसमें पारंगत भी हो गए थे।

धीरे धीरे अगल बगल का लोहा लक्कड़ निपटा देने के बाद हमें लगा कि या तो लोहा हमारे आस-पड़ोस से गायब हो गया है या लोग होशियार हो गए हैं।

तब हमने अपने कार्य क्षेत्र की परिधि को बढ़ाने का निर्णय लिया। टह टह गर्मी की एक दोपहर थी जब हम अपने एक परिचित के दुआर पर पहुंचे और उनके गेट में लगे सभी तीर धनुष को उखाड़ लाये। उसको लाकर हम दोनों ने भुसहुल में छिपा दिया और फिर तय हुआ कि किसी दिन मौका देखकर इसको ठिकाने लगा दिया जाएगा।

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फिर हम दोनों अपने अपने घर सोने चले गए। सपना देखता हूँ गाइज़ कि हम दोनों मर गए हैं और चित्रगुप्त के यहां हम दोनों का हिसाब हो रहा है। हम दोनों के पाप पुण्य कुछ ऐसे हैं कि बराबर होकर सब कैंसिल हो जा रहा है। पर यही लोहा चोरी वाला पाप एक एक्स्ट्रा पाप हो जा रहा है जिसकी वजह से हम दोनों नरक में जाने वाले हैं।

दूत हम दोनों को धकियाते हुए नरक के दरवाजे तक ले आता है जहाँ देखता हूँ कि ‘लुसिफर मॉर्निंगस्टार’ और उसकी पंटर ‘मेज़’ लाल आँखें लिए हम दोनों को घूर रहे हैं और बगल में ही कड़ाही में तेल गर्म हो रहा है। गाइज़ सच कह रहा हूँ मेरी आत्मा ही कांप गई यह सब देखकर।

गाइज़ शुक्र है कि तब तक किसी जोर की आवाज़ की वजह से मेरी नींद खुल गई.. जान में जान आई। गली में पों पों की आवाज़ आ रही थी जिसका मतलब था कि चिनियाबदाम वाला आ गया था।

मैंने सपने के बारे में बेहद गम्भीरतापूर्वक विचार किया क्योंकि मुझे एक एक दृश्य अभी याद थे।

तब मैंने बेहद कठिन निर्णय लेते हुए दोस्ती का धर्म निभाना उचित समझा और अपने दोस्त को उस पाप से बचाने के लिए अकेले ही उस लोहे को बेच दिया।

चालीस रुपये का माल था.. चिनियाबदाम, समपपड़ी, दलपट्टी आदि सब लिया और उसका कण कण इस सुकून के साथ खा गया कि खुद को नर्क की आग में झोंककर अपने दोस्त के स्वर्ग का टिकट कैंसिल न होने दिया हूँ।

अगले दिन मैंने दोस्त के साथ भुसहुल में लोहा खोजने का अभिनय भी किया पर उसे अपने इस महान कार्य के बारे में नहीं बताया क्योंकि उन्हीं दिनों स्टार प्लस पर हातिम ताई सीरियल आता था जिसका मैंने एक एपिसोड देखा था.. नाम था, नेकी कर और दरिया में डाल।

खैर कुछ दिन बीत गए तब मुझे लगा कि मेरी नेकी बहुत दिन दरिया में रह गई अब नेकी को बाहर निकालकर अपने दोस्त के सामने पेश करने का समय आ गया है। आखिर मेरे भाई को भी तो पता चले कि मैं उसके लिए क्या क्या कर सकता हूँ!

पर गाइज़ पता नहीं क्यों मेरा दोस्त इस बात पर गुस्सा गया और तीन दिन तक उसने मुझसे बात ही नहीं की जबकि मैंने तो उसको पाप का भागीदार बनने से रोकने के लिए ही यह बलिदान दिया था।

पर वह बेवकूफ़ इस बात को आज तक नहीं समझा है और दसियों बरस से गंभीरतापूर्वक मेरे समझाने के बावजूद वह बदतमीज आज तक मेरे ऊपर खाने पीने के मामले में भरोसा नहीं करता है।

महीने दो महीने पर कॉल करता है और बस इतना कहता है, साला तू बहुत बड़ दगाबाज हवे रे और फिर फोन काट देता है।

मैं आप लोगों को यह बात बताना नहीं चाहता था गाइज़ पर क्या करूँ अब हद्द हो गई है। आज अफगानिस्तान वाला मैच देख रहा था तो उसकी कॉल आई। दो रिंग तक तो मैंने रिसीव ही नहीं किया पर जब तीसरी बार आया तो मुझे लगा कि शायद जरूरी काम हो।

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उसने पूछा कि क्या कर रहा हूँ तो मैंने बताया कि अफगानिस्तान का मैच देख रहा हूँ.. दो सेकेंड की चुप्पी के बाद कह रहा है, वहाँ तो लोहा भी नहीं निकलता फिर क्यों देख रहे हो! गाइज़ कसम से मन हुआ कि सामने होता तो साले का टेंटुआ दबा देता पर मैं कुछ कह पाता तब तक उसने कॉल कट कर दिया।

मतलब आप यह समझिए कि वह हजारों साल से मुझे बस ‘उसपर किये गए मेरे एहसान’ के बदले मेहना मारने के लिए कॉल करता है।

अब आप लोग ही मेरे पंच परमेश्वर हैं, आप ही तय करें कि मुझे ऐसी स्थिति में क्या करना चाहिए था क्योंकि मैं जानबूझकर तो अपने दोस्त को नरक की आग में नहीं झोंक सकता था जहां लुसिफर और उसकी प्रेमिका उसका भुर्जी बना देते।😥

गाइज़ बहुत कठिन डगर है दोस्ती की.. हुँह😏

एकलव्य राय

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